संपूर्ण आदिवासी समाज और आदिवासी लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए संविधान, कानून और जनतंत्र को लागू करने की मांग की गई, आदिवासी सेंगल अभियान के द्वारा बताया गया कि आदिवासी स्वशासन व्यवस्था के नाम पर लागू वंशानुगत नियुक्ति माझी परगना इसे नहीं मानते राज तांत्रिक तानाशाही चलाई जा रही है जिसकी वजह से आदिवासी समाज के लोग गुलामी के जिंदगी जीने को मजबूर है आदिवासी सेंगल अभियान के द्वारा प्रदर्शन कर जल्द से जल्द संविधान और जनतंत्र लागू करने की मांग की गई अन्यथा आंदोलन के लिए बाध्य होने की चेतावनी दी गई।