ऑल इंडिया ट्रेड यूनियन कांग्रेस के द्वारा इसको लेकर एक वार्ता की गई, इस सम्बन्ध मे जानकारी देते हुए कहा की केंद्र सरकार ने तमाम श्रम क़ानूनो कों बदलकर चार श्रम कोड लागु कर चुकी है और इससे केवल पूँजीपतियों कों लाभ पहँचाया जा रहा है, जबकि इससे मजदूरों के अधिकार का हनन हो रहा है, साथ ही देश के संपत्तियों कों केंद्र सरकार निजी हाथों मे बेच रहीं है और देश कों निजीकरण की और लेकर जा रहीं है, ऐसे मे इस हड़ताल के माध्यम से तमाम श्रमिक अपने आवाज बुलंद करेंगे और केंद्र सरकार के खिलाफ़ अपने आंदोलन कों तेज़ करेंगे.