सरायकेला
उन्होंने कहा कि इस बावत उन्हें कोई लिखित शिकायत नहीं मिली है. उन्होंने बताया कि ट्रांसपोर्टर और कंपनी प्रबंधन के बीच पैसों के लेनदेन का मामला है. अपहरण की बातों को उन्होंने सिरे से खारिज करते हुए इसे अफवाह बताया. चालकों ने बताया कि कंपनी प्रबंधन द्वारा कोयले की गुणवत्ता को लेकर सवाल उठाते हुए कोयला लेने से मना कर दिया गया, जबकि कई बार कोयले की जांच की गई. इधर कंपनी प्रबंधन द्वारा उन्हें ना तो कैंटीन से खाना दिया जा रहा है ना ही पीने का पानी. सभी के पैसे खत्म हो चुके हैं कई चालक बीमार भी पड़ गए हैं. दरअसल मामला तब प्रकाश में आया जब भोजन- पानी और ईलाज के अभाव में परेशान ट्रक चालकों ने कंपनी के भीतर हंगामा शुरू कर दिया. मामले की सूचना मिलते ही सरायकेला थाना पुलिस मौके पर पहुंची और हंगामा कर रहे चालकों को समझा- बुझकर मामले को शांत कराया. वही इस संबंध में कंपनी प्रबंधन की ओर से कुछ भी बताने से मना कर दिया गया. वैसे सूत्र बताते हैं कि कोयला कंपनी के मालिक ने कंपनी के विनोद देबुका, संजय देबुका, चित्तरमल धूत, नितेश धूत, निशांत धूत एवं शंकर अग्रवाल उर्फ शंकर सिंह उर्फ शंकर सहरिया के खिलाफ अपहरण का मामला दर्ज कराया है. हालांकि यह मामला कहां दर्ज हुआ है इसकी जानकारी नहीं मिल सकी है. सूत्र बताते हैं कि धनबाद के किसी थाने में मामला दर्ज कराया गया है. वैसे एसपी ने ऐसे किसी भी मामले से इनकार किया है.