जमशेदपुर: पूरी तरह स्वस्थ होने के बाद महाप्रभु जगन्नाथ, बड़े भाई बलभद्र व बहन महारानी सुभद्रा शुक्रवार को दोपहर बाद नगर भ्रमण पर निकले। जय जगन्नाथ के उद्घोष के साथ राम मंदिर से इस्कॉन की रथ यात्रा निकली। बुंदाबांदी में रथ निकली। सभी भक्त रथ यात्रा के स्वागत में नाचते गाते दिखे।
भक्तों को अलग-अलग रथ पर सवार होकर दर्शन दिए। प्रभु जगन्नाथ, भाई बलभद्र व बहन सुभद्रा के रथ सज-धज कर तैयार हो गए थे। रथ यात्रा आयोजन समिति एवं मंदिर समितियों ने रथ खींचने के दौरान सभी भक्तों से मास्क पहनकर आने की अपील की थी। जमशेदपुर में मुख्य आकर्षण इस्कान की रथ यात्रा थी, जो बिष्टुपुर राम मंदिर से निकली। बिष्टुपुर राम मंदिर में प्रभु जगन्नाथ, बड़े भाई बलभद्र व बहन सुभद्रा का भव्य श्रृंगार किया गया था। रथ यात्र को लेकर यहां पूजा अर्चना सुबह से ही प्रारंभ हो गई थी। भक्त पहुंचकर यहां भोग चढ़ा रहे थे तथा पूजा अर्चना कर रहे हैं। दोपहर दो बजे के बाद भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा बिष्टुुपुर राम मंदिर से निकली। इसके अलावा मानगो बड़ा हनुमान मंदिर, बेल्डीह नागा मंदिर, बर्मामाइंस, खासमहल जगन्नाथ मंदिर, नामदा बस्ती काली मंदिर से रथ यात्रा निकली। इस्कान की रथ यात्रा के बाद भगवान मौसीबाड़ी नहीं जाएंगे। वहीं अन्य स्थानों से निकलने वाली रथ यात्रा के बाद महाप्रभु, भाई-बहन संग मौसीबाड़ी जाएंगे तथा 9 जुलाई को घूरती रथ यात्रा से वापस अपने स्थान पर भगवान विराजमान होंगे।

बिष्टुपर राम मंदिर से निकलने वाली इस्कान की रथ यात्रा को लेकर लोग दोपहर बाद बिष्टुपुर व साकची की मुख्य सड़क बाधित रही। यहां की रथ यात्रा बिष्टुपुर रीगल चौक, जुस्को गोलचक्कर से मुड़कर स्ट्रेट माइल रोड को पकड़कर कीनन स्टेडियम के पास से साकची चौक तक पहुंची। यहां से रथ जेएनएसी चौक साकची पहुंची। यहीं पर रथ यात्रा का समापन हुआ। इस दौरान समय-समय पर ये रास्ते बंद रही।