संयम और तकनीक से आग लगने की घटना नियंत्रित होगा फायर ऑफिसर, सदर अस्पताल में अग्निशमन विभाग ने किया मॉक ड्रिल अभ्यास

लोहरदगा :घरेलू, व्यवसायिक समेत सार्वजनिक स्थानों पर आए दिन आग लगने की घटनाओं में होने वाले जानमाल की क्षति को सूझबूझ और तकनीक से सहज नियंत्रित करने को लेकर बुधवार को सदर अस्पताल परिसर में जिला आपदा प्रबंधन विभाग व अग्निशमन विभाग द्वारा मॉक ड्रिल कर अभ्यास किया गया। मॉक ड्रिल के माध्यम से सदर अस्पताल के डॉक्टर, नर्स, हेल्थ वर्कर समेत शहर के जागरूक नागरिकों को आग लगने पर इसे सहज नियंत्रित कर घटना को टालने के संदर्भ में तकनीक बताया गया। इस दौरान एलपीजी गैस के उपयोग के दौरान होने वाले विभिन्न आग लगने की घटनाओं को तत्काल उपलब्ध संसाधनों और तकनीक से नियंत्रित करने का अभ्यास कराया गया। मौके पर उपस्थित कई लोगों ने अभ्यास में भाग लेकर आग बुझाया। मौके पर विभिन्न प्रकार के आग की श्रेणियों की जानकारी दी गई।अलग-अलग आग लगने की घटना में अलग-अलग तकनीक से बुझाने का गुर बताया गया। इस मौके पर जिला आपदा प्रबंधन पदाधिकारी विभाकर कुमार व फायर ऑफिसर सुरेंद्र यादव ने बताया कि, तीन तरह की आग होती है । इसे तीन तरह की तकनीक से बुझाकर बड़ी घटना को टाला जा सकता है। उन्होंने कहा कि, आग लगने की घटना होने पर ठंडा कर, फैलाकर और ढक कर नियंत्रित किया जा सकता है। आग लगने की घटना होने पर दिमाग शांत कर तकनीक का उपयोग करना चाहिए। उपलब्ध संसाधन और तकनीक आग लगने की घटना को तत्काल रोक देता है। इस मौके पर जिला फायर ऑफिसर सुरेंद्र यादव, सिविल सर्जन संजय कुमार सुबोध, महिला थाना प्रभारी किरण पंडित, डॉक्टर डी एन सिंह, डॉक्टर सुदामा राम, अस्पताल प्रबंधक सुभाषिनी तिर्की, अग्निशमन विभाग के एमके शर्मा, गोपी यादव, अभिजीत कुमार वर्मा समेत बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे।

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