चांडिल
इसके तहत सैलानियों को प्रकृति को बड़े ही करीब से जानने का मौका दिया जा रहा है. दलमा में बसने वाले जंगली जीव जंतुओं को नजदीक से देखने का मौका मिल रहा है. वहीं दलमा हिल टॉप में सैलानियों को लुभाने के लिए शिव मंदिर परिसर में लकड़ी का कॉटेज बनाया जा रहा है जहां पर्यटकों के लिए खाने- पीने सुविधा उपलब्ध होगी. बता दें कि टाटा- रांची मुख्य मार्ग एनएच 33 से सटे जमशेदपुर जिला मुख्यालय और सरायकेला जिला मुख्यालय से करीब 40 किलोमीटर दूर स्थित चांडिल अनुमंडल में दलमा वाइल्ड लाईफ सेंचुरी 193.22 वर्ग में फैला हुआ है. पूर्व में सैलानियों को अपने निजी वाहन से यहां की सैर करनी पड़ती थी, मगर अब प्रकृति को करीब से जानने के लिए सेंचुरी में सरकार की पहल पर वन विभाग ने सफारी की शुरुआत कर दी है. सैलानी इस सफारी का जमकर लुप्त उठा रहे है. यहां मुख्य चेकनाका मकुलाकोचा गेट से ही सफारी की सुविधा उपलब्ध है. जहां सैलानी प्रति व्यक्ति 280 रुपए देकर सफारी का मजा ले सकते है. इसके अलावा पूरी सफारी बुक करने पर 2800 रुपए देना होता है. सफारी की शुरुआत मकुलाकोचा चेकनाका से होती है. यहां से सैलानी मझलाबांध, बड़काबांध होते हुए दलमा हिल टॉप तक पहुंचते है. इस बीच प्रकृति की छटाएं देखने को मिलती है. इसे जेएसआर ऑन व्हील्स द्वारा चलाई जा रही है. जिसके संचालक राहुल सिंह है. इससे प्रतिवर्ष दो लाख रुपया वन विभाग को मिलेगा. यहां 79 कुदरती जलस्रोत है, जंगली वन्य जीवजंतु भरे हे, विभिन्न जलस्रोत में विभिन्न प्रजाति के पक्षियों के मधुर आवाज सुनने को मिलती है. जंगल सफारी का आनंद लेने के लिए पर्यटक देश के अलग- अलग राज्यों से पहुंच रहे हैं. आइए जानते हैं जंगल सफारी का लुफ्त उठाने पहुंच रहे पर्यटकों की इसपर क्या राय है